मन की बात: प्रधानमंत्री ने लोगों से मांगी माफी, कहा- देश को बचाने के लिए ये एकमात्र रास्ता था

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज रेडियो कार्यक्रम के द्वारा देशवासियों से मन की बात की। इस दौरान प्रधानमंत्री ने लोगों से कोरोना वायरस को लेकर बातचीत की। मन की बात के दौरान प्रधानमंत्री ने उन कोरोना पीड़ितों से बात की जो अब ठीक हो गए हैं। प्रधानमंत्री ने सॉफ्टवेयर इंजीनियर राम और आगरा के अशोक कपूर से बात की। प्रधानमंत्री ने कोरोना के मरीजों का इलाज करने वाले डॉक्टरों से भी बातचीत की। इस दौरान प्रधानमंत्री ने कोरोना लॉक डाउन की वजह से लोगों को हो रही परेशानियों के लिए माफी मांगी। प्रधानमंत्री ने काफी भावुक बातें भी कहीं। उन्होंने कहा कि लोग सोच रहे होंगे कि कैसा प्रधानमंत्री है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि लोग मुझसे काफी नाराज होंगे कि कैसे सबको घर में बंद रखा है। मैं आपकी दिक्कत को समझता हूं। आपकी परेशानी को भी समझता हूं लेकिन भारत जैसे 130 करोड़ की आबादी वाले देश को कोरोना के खिलाफ लड़ाई के लिए यह कदम उठाना था। इसके बिना कोई रास्ता नहीं था। कोरोना के खिलाफ लड़ाई हमें लड़नी है और इसे जीतना भी है इसीलिए कठोर कदम उठाने की बहुत जरूरत थी। किसी का मन नहीं करता है, ऐसे कदम को उठाने के लिए लेकिन दुनिया के हालात देखने के बाद लगा कि बस यही रास्ता है। आपको और आपके परिवार को सुरक्षित रखने के लिए मैं सभी देशवासियों से माफी मांगता हूं। मेरी आत्मा कहती है कि आप मुझे जरुर माफ करेंगे क्योंकि कुछ ऐसे फैसले लेने पड़े हैं जिसकी वजह से आपको कई तरह की परेशानियां उठानी पड़ रही है। खासतौर पर मेरे गरीब भाई बहनों को देखता हूं, तो जरूर लगता है कि उनको लगता होगा कि कैसा प्रधानमंत्री है हमें मुसीबत में डाल दिया मैं उनसे भी खास तौर पर माफी मांगता हूं।

इसके साथ ही प्रधानमंत्री ने देशवासियों से अपील की कि सरकार की मदद के लिए आगे आएं और विशेष रूप से गठित प्रधानमंत्री निधि पीएम केयर फंड में अपनी इच्छा के अनुसार दान करें। बता दें कि प्रधानमंत्री मोदी का मन की बात का यह 63 वां संस्करण था।

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