चीन में तेज़ी से पैर पसार रहा है एलियन वायरस, चीन को हुआ बड़ा नुकसान ! चीन ने अमेरिका को ठहराया जिम्मेदार

  • चीन के तटीय इलाकों में दिख रहे है एलियन
  • चीन के जीव जंतु और पर्यावरण के लिए घातक है ये एलियन

कोरोना वायरस के बाद अब चीन पर एलियन का कब्जा होता जा रहा हैं। खासतौर पर चीन के तटीय इलाकों में एलियन बहुत तेज़ी से पैर पसार रहे हैं और चीन में एलियन सिर्फ अपने पैर ही नही जमा रहे हैं बल्कि चीन के जीव जंतु और पर्यावरण को भी बेहद नुकसान पहुंचा रहे हैं। इन एलियन को लेकर चीनी वैज्ञानिकों ने पूरी तरह से अपना पल्ला झाड़ लिया है। चीनी वैज्ञानिकों का कहना है कि इन एलियनस का चीन से कोई लेना देना नही हैं। चीन में इन एलियन प्रजाति से पैदा हुए खतरें के लिए चीन ने सीधे सीधे अमेरिका को ज़िम्मेदार ठहराया हैं।

जी हां दुनिया अभी चीन के दिए हुए कोरोना वायरस से उबर भी नही पाई थी कि इसी बीच चीन से खबरे निकल कर सामने आ रही है कि चीन में एक और वायरस ने जन्म ले लिया हैं और इस वायरस से न सिर्फ चीन के पर्यावरण और फसलों  को खतरा है बल्कि ये एलियन वायरस चीन के जीव जंतु और इंसान के लिए भी बेहद घातक हैं। चीन के पर्यावरण मंत्रालय से संबद्ध नानजिंग इंस्टीट्यूट ऑफ एनवॉयरॉनमेंटल साइंस के एसोसिएट रिसर्चर मा फांगझोउ ने कहा कि चीन में 660 इन्वेसिव एलियन स्पीसीज यानी आक्रामक एलियन प्रजातियां खोजी गई हैं। इनमें से 71 तो बेहद खतरनाक हैं और जो सबसे खतरनाक है वो है पोपलर मोजैक वायरस जो फसलों के लिए सबसे बड़ा खतरा हैं।  चीन में राइस ग्रास प्रजाति एलियन प्रजाति में शामिल है और ये एलियन प्रजाति  चीन के तटीय इलाकों में बहुत तेजी से फैल रही है।

फांगझोउ का कहना है कि IAS की वजह से घरेलू प्रजातियां, फसलें, जीव-जंतु और यहां तक की इंसानों पर असर डाल रही हैं। इस वायरस की वजह से घरेलू पर्यावरण बहुत बूरी तरह से प्रभावित हो रहा हैं। चीन के दक्षिण-पूर्व तटों पर बाहर से आई माइक्रोएल्गी और सी-बीन्स चीन के घरेलू मैनग्रूव्स हैलाफाइट को खत्म कर रहे हैं। माइक्रोएल्गी और सी-बीन्स बहुत तेजी से फैल रहे हैं। यहां तक कि मैनग्रूव्स की डीएनए तक में इन्होंने बदलाव कर डाला है। ये आपस में हाइब्रिड बना ले रहे हैं।

यहां तक कि एलियन की इन प्रजातियों पर किए गए सर्वे में ये भी पता चला है कि 215 इन्वेसिव एलियन प्रजातियां चीन के 67 नेशनल नेचर रिजर्व में फैल गई हैं। इनमें से 48 को IAS की इन्वेंटरी लिस्ट में डाला गया है। जिसके चलते कहा जा रहा है कि  चीन के नेशनल नेचर रिजर्व के लिए ये बेहद खतरनाक स्थिति है। इसकी वजह से पूरे देश की पारस्थितियों  और पर्यावरण में बड़े बदलाव हो रहे हैं और आगे भी होंगे। लेकिन अपने यहां जन्मी इस नई मुसीबत से छुटकारा पाने की जगह चीन इस एलियन वायरस के लिए भी अमेरिका को कटघरे में खड़ा करने पर लगा हुआ हैं। चीन में जीव जंतु और इंसानों को नुकसान पहुंचा रहे इस एलियन वायरस के लिए चीन अमेरिका को जिम्मेदार ठहरा रहा हैं। चीनी वैज्ञानिकों का कहना है कि आक्रामक एलियन प्रजातियां एक देश से दूसरे देशों में अनाज, तेल, कार्गो या सामान के साथ चली जाती हैं और चीन में भी इस वायरस की एंट्री अंर्तराष्ट्रीय मार्गों से अमेरिका के बीजों और पौधों की कंटिग्स  के जरीए हुई हैं। साथ ही इस वायरस को लेकर चीन ने अमेरिका पर आरोप लगा कर एक नया दांव चला हैं। अब देखना ये है कि अमेरिका को एलियन वायरस के लिए जिम्मेदार ठहरा कर चीन कोरोना वायरस को लेकर अपने दामन पर लगे दाग को किस हद तक धो पाता है।

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