किसी देश ने मजदूरों के रहने, खाने की व्यवस्था किए बिना लॉक डाउन नहीं किया, राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर साधा निशाना

भारत में कोरोनावायरस के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। ऐसे में लॉक डाउन पर भी सवाल उठने लगे हैं। कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए प्रेस कॉन्फ्रेंस की। जहां उन्होंने मोदी सरकार पर निशाना साधा है। सोनिया गांधी ने कहा कि 21 दिन का लॉकडाउन जरूरी था, लेकिन इसे अनियोजित तरीके से लागू किया गया। लॉकडाउन के कारण लाखों प्रवासी मजदूरों का उत्पीड़न हुआ। इस दौरान मोदी सरकार से मांग करते हुए सोनिया गांधी ने कहा कि सरकार को डॉक्टरों, नर्सों और चिकित्सा कर्मचारियों को व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण प्रदान करना चाहिए। सरकार को नामित अस्पतालों, बेड की संख्या, क्वारनटीन और परीक्षण सुविधाओं और चिकित्सा आपूर्ति का विवरण प्रकाशित करना चाहिए। फसल कटाई के लिए किसानों पर लगा प्रतिबंध हटाना चाहिए।

सोनिया गांधी ने केंद्र सरकार से मध्यम वर्ग के लिए एक सामान्य न्यूनतम राहत कार्यक्रम तैयार करने और प्रकाशित करने की अपील की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकारों, फ्रंटल संगठनों, हमारे नेताओं और कार्यकर्ताओं को आगे बढ़ना चाहिए और उन परिवारों को अपनी मदद की पेशकश करनी चाहिए जो अत्यधिक जोखिम में हैं।

वहीं राहुल गांधी ने भी मजदूरों के पलायन पर मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा है कि हम दो महीनों से कोरोना पर नजर बनाए हुए हैं और विशेषज्ञों से बात कर रहे हैं। दुनिया का कोई ऐसा देश नहीं है, जो मजदूरों के रहने, खाने और उनके राशन की व्यवस्था किए बिना लॉकडाउन का ऐलान कर देता है।

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