पांचवें चरण में धार्मिक स्थलों को खोले जाने के फैसले को अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने स्वागत किया

कोरोना की वैश्विक महामारी के बीच एक जून से शुरू हो रहे लाकडाउन के पांचवें चरण में धार्मिक स्थलों को खोले जाने के फैसले का साधु संतों की सर्वोच्च संस्था अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने स्वागत किया है। महंत नरेंद्र गिरी ने कहा है कि कोरोना के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए जनता कर्फ्यू के दिन 22 मार्च से ही सभी धार्मिक स्थल श्रद्धालुओं के लिए बंद कर दिये गए थे।

अब केंद्र सरकार गाइडलाइन के साथ आठ जून से सभी धार्मिक स्थलों को खोलने की अनुमति दे रही है। जिसका सभी संत महात्मा स्वागत कर रहे हैं। महंत नरेंद्र गिरी ने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ का धार्मिक स्थलों को खोलने के फैसले पर आभार जताया है। अखाड़ा परिषद ने आठ मई को देश की राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद, पीएम मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और सीएम योगी को पत्र लिखकर धार्मिक स्थल खोले जाने की मांग की थी। महंत नरेंद्र गिरी ने संत महात्माओं से अपील की है कि 8 जून से मठों मंदिरों के खुलने पर केंद्र और राज्य सरकार की गाइड लाइन का पूरी तरह से पालन कराएंगे। मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं के हैंड वाश और उन्हें सेनेटाइज करने की व्यवस्था करने की अपील की है।

मठ मंदिरों में श्रद्धालुओं से सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराने और दूरी बनाकर ही दर्शन कराने की भी अपील की है। महंत नरेंद्र गिरि ने कहा है कि मठ मंदिर खुलने पर श्रद्धालु मंदिर में कोरोना को लेकर भी ईश्वर से प्रार्थना करेंगे। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि ने कहा है कि सभी संत महात्मा और देशवासी कोरोना को लेकर जारी की गई गाइड लाइन का पूरी तरह से पालन करेंगे। इसके साथ ही साथ देश की अर्थव्यवस्था को फिर से मजबूत बनाने के लिए अपना सहयोग भी देंगे।

गौरतलब है कि कोरोना की वैश्विक महामारी को लेकर किए गए लाक डाउन फोर के बाद देश अब धीरे-धीरे अनलॉक की ओर बढ़ रहा है। एक जून से देश में लाक डाउन फाइव की शुरुआत हो रही है। लाक डाउन फाइव में जहां कंटेन्मेंट जोन में पाबंदी रहेगी। वहीं आठ जून से धार्मिक स्थलों को श्रद्धालुओं के लिए खोले जाने का फैसला केंद्र सरकार ने लिया है।

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