शिवपाल यादव समाजवादी पार्टी में विलय के लिए तैयार, रखी ये शर्त

शिवपाल सिंह यादव ने अखिलेश के सामने रखी ये शर्त

लखनऊ. समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव  के आज धुमधाम से जन्मदिन मनाया गया. इस अवसर को अखिलेश यादन और शिवपाल ने अपने तरिके से अलग-अलग जगह  जन्मदिन मनाया. इस मौके पर प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के प्रमुख शिवपाल सिंह यादव ने अखिलेश के सपा में अपनी पार्टी के विलय का साफ संकेत दिया. सैफई में उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं से बातचीत में कहा कि वह सपा में अपनी पार्टी प्रसपा का विलय करने के लिए तैयार हैं.

अखिलेश यादव के सामने रखी एक शर्त

उन्होंने कहा कि सपा के साथ गठबंधन की संभावना से भी कतई इनकार नहीं है और एक हफ्ते के अंदर अपने लोगों से राय लेकर इस पर फैसला करेंगे. हालांकि उन्होने अखिलेश यादव के सामने एक शर्त भी रखी है. उन्होंने साफ किया कि वह उत्तर प्रदेश के आगामी विधानसभा चुनाव  में अपने समर्थकों के लिए 100 टिकटें चाहते हैं. शिवपाल यादव ने कहा, ‘हमने तो 2019 में ही कहा था कि चलो हम ही झुक जाएंगे.

संबोधन में छलका दर्द

मुलायम सिंह यादव के जन्मदिन के मौके पर सैफई के मास्टर चंदगीराम स्पोर्ट्स स्टेडियम में दंगल से पहले शिवपाल यादव के संबोधन में उपेक्षा का दर्द भी छलका, जब उन्होंने कहा, ‘आज यहां पर तेजप्रताप और अंशुल को भी होना चाहिए था. अंशुल को हराने के लिए कितनी ताकतें लगी थीं. हमारी ताकत पर अंशुल निर्विरोध चुन लिए गए. उन्हीं की तरफ से 22 तारीख को दंगल की बात चली थी, लेकिन वह यहां नहीं आए. हमने सोचा था कि यह दंगल ऐतिहासिक दंगल होगा, लेकिन नहीं हुआ. हमने हमेशा त्याग किया. हम चाहते तो 2003 में मुख्यमंत्री बन सकते थे, लेकिन मैंने नेता जी को दिल्ली से बुलाकर सीएम बनाया था.’

 2022 विधानसभा चुनाव शिवपाल  ने कही ये बात

वहीं प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव आदित्य यादव का कहना है कि सपा प्रमुख अखिलेश यादव और पीएसपीएल प्रमुख शिवपाल सिंह यादव 2022 विधानसभा चुनाव में बड़ी कामयाबी के मद्देनजर बहुत ही जल्दी एक मंच पर आएं. ऐसा वह नहीं, बल्कि दोनों संगठनों के कार्यकर्ता मान कर चलते हैं. समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव के जन्मदिन के मौके पर सैफई के मास्टर चंदगीराम स्पोर्ट्स स्टेडियम में दंगल के आयोजन में पहुंचे आदित्य यादव ने पत्रकारों के समक्ष कहा कि उनकी यात्रा को व्यापक जनसमर्थन मिला है और ज्यादातर कार्यकर्ताओं का ऐसा मानना है कि सपा प्रमुख अखिलेश यादव और पीएसपीएल प्रमुख शिवपाल सिंह यादव बहुत ही जल्दी एक मंच पर आए तो 2022 विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के मुकाबले बड़ी कामयाबी मिल सकती है.

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