CPI नेता गुरुदास दासगुप्ता का 83 साल की उम्र में हुआ निधन

पूर्व सांसद और दिग्गज वामपंथी नेता गुरुदास दासगुप्ता का निधन हो गया है। गुरुवार सुबह 83 साल की उम्र में उन्होंने आखिरी सांस ली। वे लम्बे समय से हर्ट तथा किडनी संबंधी समस्याओं से जूझ रहे थे। गुरुदास अपने राजनीतिक करियर में 2 बार लोकसभा और 3 बार राज्यसभा के सदस्य रहे। दासगुप्ता अपनी प्रखर वाकशैली के लिए मशहूर थे।

गुरुदास दासगुप्ता का जन्म 3 नवंबर 1936 को हुआ था। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआई) के दिग्गज वामपंथी नेताओं में शुमार किए जाने वाले गुरुदास दासगुप्ता पहली बार 1985 में राज्यसभा सांसद बने थे। इसके बाद 1988 में वह दूसरी बार राज्यसभा के लिए चुने गए। 1994 में गुरुदास दासगुप्ता तीसरी बार राज्यसभा के सदस्य बने थे। हालांकि 3 बार राज्यसभा सांसद रहने के बाद वह 2004 में लोकसभा चुनाव में उतरे और चुने गए। इस दौरान वह वित्त समितिऔर पब्लिक अंडरटेकिंग समिति के सदस्य भी रहे थे। लोकसभा में अपने पहले कार्यकाल के बाद 2009 में वे दूसरी बार लोकसभा सदस्य चुने गए। 2009 लोकसभा चुनाव में वह कम्युनिस्ट पार्टी के संसदीय दल के नेता भी रहे। इस दौरान भी वह कई संसदीय समितियों से जुड़े रहे।

बता दें कि गुरुदास दासगुप्ता क्रिकेट और रबिंद्र संगीत के शौक़ीन थे। वह बंगाल क्रिकेट संघ (CAB) से भी जुड़े थे और वहां कैब के सदस्य के रूप में काम कर रहे थे। साथ ही प्रखर नेता होने के चलते गुरुदास अपनी बात को खुलकर रखने के लिए जाने जाते थे। कुछ ऐसा ही उन्होंने मनमोहन सिंह सरकार के समय भी किया था। वित्त वर्ष 2012-13 के बजट पर तीखी टिप्पणी करते हुए उन्होंने कहा था कि केंद्रीय वित्त मंत्री के रूप में प्रणब मुखर्जी की कोई आवश्यकता नहीं थी, इसे तो लिपिक भी तैयार कर सकते थे।

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