फलाहारी बाबा के चेलों का कारनामा, जर्मन साध्वी से अधर्म

नेपाल से भारत और भारत मे धर्म की नगरी काशी में बाबा विश्वनाथ के दर्शन पूजन करने आई जर्मनी की साध्वी महिला के साथ फलाहारी बाबा आश्रम के तीन बाबाओं ने मिल कर रात में छेड़खानी और अपशब्दों का प्रयोग किया जिसमें जर्मन साध्वी की तहरीर पर पुलिस ने एक बाबा को गिरफ्तार कर लिया है। जबकि दो अन्य मौके का फायदा उठा कर फरार हो गए। यह महिला 2 दिनों पहले वाराणसी आई थी और आश्रम में शरण देने के बहाने तीनो बाबाओ ने महिला और उसके गुरु भाई को आश्रम में ठहराया और रात में उसके साथ आपत्तिजनक बातें की।

कहते है साधु और सन्यासी धर्म और आस्था के सन्देश लोगो तक पहुचा कर धर्म और राष्ट्र का नाम रौशन करते है लेकिन वाराणसी में फलाहारी बाबा के आश्रम के तीन साधुओं ने इस महिमा को कलंकित कर दिया। दरसअल नेपाल से वीज़ा खत्म होने के बाद भारत वीज़ा लेने और काशी के महात्म्य को जानने वाराणसी आई एक जर्मन साध्वी ने अपने गुरु भाई करण नाथ से बाबा विश्वनाथ के दर्शन करने की इच्छा जाहिर की तो उसके गुरु भाई उसे लेकर वाराणसी के शिवपुर थाने के करीब पहुँचे। जिसमे फलाहारी बाबा आश्रम के तीन साधुओं ने 32 वर्षीय जर्मन साध्वी को देख उसे शरण देने के बहाने अपनी हवस मिटाने के लिए आश्रम में ठहरा दिया। पहले दिन तो सब ठीकठाक था लेकिन दूसरे दिन मौका देख आश्रम में भंडारी, छोटेलाल दुबे और उनके दो अन्य साथियों ने पहले तो साध्वी से आपत्तिजनक बाते की और अपनी मंशा पूरी करना चाहा लेकिन साध्वी के गुस्सा होने पर भाग गए। जिसमे पीड़िता और उसके साथी थाने पहुँचे और थानेदार को आपबीती सुनाई जिसके बाद साध्वी के गुरुभाई करन नाथ पूरी घटना बता अब न्याय के मांग कर रहे है।

मामला विदेशी महिला का था जिसने जैसे ही थाने से महज चंद कदमो की दूरी पर अपने साथ छेड़खानी की बात बताते हुए तहरीर दी तो वाराणसी पुलिस हरकत में आई और तत्काल आश्रम पर छापेमारी कर आरोपियों की गिरफ्तारी में जुट गई। इस आरोप में पुलिस ने जर्मन साध्वी की तहरीर पर आश्रम के भंडारी छोटेलाल दुबे को गिरफ्तार कर दो अन्य की तलाश के लिए पुलिस टीम बना करवाई में जुटी है। वही पुलिस की गिरफ्त में आये आरोपी छोटेलाल अपने आप को बेगुनाह बताते हुए ऐसी घटनाओं से इनकार कर रहा है।

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