केंद्र का बड़ा फैसला, इटली की इस फर्म पर लगा प्रतिबंध हटाया

नई दिल्‍ली. भारत सरकार (Indian Government) ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए वीवीआईपी हेलिकॉप्टर घोटाले (VVIP Helicopter Scam) के सिलसिले में प्रतिबंधित इटली (Italy) की एक कंपनी के साथ लेनदेन पर लगे प्रतिबंध को हटाने का फैसला किया है. सरकारी सूत्रों ने रविवार को न्‍यूज एजेंसी ANI को बताया कि केंद्र सरकार ने यह फैसला कुछ शर्तों के साथ किया है. इसके तहत इटली की फर्म पर केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) और प्रवर्तन निदेशालय (ED) की जांच चलती रहेगी. इसके साथ ही कंपनी को समझौता नए सिरे से करना होगा, वह पूर्व में हुए वित्तीय समझौते पर दावा नहीं कर पाएगी.

साल 2019 में वीवीआईपी हेलीकॉप्टर घोटाले के मामले में इटली की कंपनी का नाम सामने आने के बाद इटैलियन फर्म के साथ किसी भी प्रकार की डील पर रोक लगा दी गई थी. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, रक्षा मंत्रालय ने इटली की इस फर्म की ओर से लगातार किए जा रहे अनुरोध, कानून मंत्रालय व अन्य एजेंसियों के साथ की गई बातचीत के बाद कुछ शर्तों के साथ प्रतिबंध हटाने का फैसला लिया है.

बता दें कि ये पूरा मामला अगस्ता वेस्टलैंड से संबंधित है. अगस्‍ता वेस्‍टलैंड में भ्रष्‍टाचार का मामला सामने आने के बाद रक्षा मंत्रालय ने इटैलियन फर्म के साथ किसी भी प्रकार की डील पर रोक लगा दी गई थी. इसमें ब्लैक टॉरपीडो की डील भी शामिल थी, जिसे नौसेना द्वारा अधिग्रहण की मंजूरी मिल गई थी. बता दें कि भारत ने यूपीए सरकार के कार्यकाल के दौरान 2013-14 में कंपनी के साथ सौदे पर रोक लगा दी थी. यह मामला तब सामने आया था जब 3600 करोड़ के वीवीआईपी हेलीकॉप्टर समझौते में यूरोपीय एजेंसियों ने कई व्यक्तियों को गिरफ्तार किया था.

बता दें कि भ्रष्टाचार का मामला केवल अगस्ता वेस्टलैंड से संबंधित था, लेकिन पूरे समूह फिनमेक्कनिका के साथ व्यवहार को रोक दिया गया था. इसमें ब्लैक शार्क टॉरपीडो के सौदे भी शामिल थे जिन्हें उस समय भारतीय नौसेना द्वारा अधिग्रहित करने की मंजूरी दी गई थी.

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