हाईकोर्ट में पिता रामेश्वर सिंह यादव का मुक्क्दमा लड़ रहे अधिवक्ता बेटे पर भी धड़ाधड़ मुक्क्दमें 

उत्तर प्रदेश में सपा की हार होने के बाद सपा के कई नेताओ पर गाज गिरी लेकिन एटा के रामेश्वर सिंह यादव का परिवार इन दिनों बेहद संघर्ष कर रहा है।

Rameshwar Singh yadav :- 10 मार्च को उत्तर प्रदेश में सपा की हार होने के बाद सपा के कई नेताओ पर गाज गिरी लेकिन एटा के रामेश्वर सिंह यादव का परिवार इन दिनों बेहद संघर्ष कर रहा है। वही रामेश्वर सिंह यादव के अधिवक्ता बेटे डॉ सुबोध यादब अपने पिता की कानूनी लड़ाई के लिए दिन रात एक किये हुए हैं। सपा के वरिष्ठ नेता रामेश्वर सिंह यादव के बेटे डॉ सुबोध यादव ने सरकार की मंशा पर सवाल उठाये हैं उनका कहना है की उनके पिता तीन बार विधायक रहे हैं और इस बार भी विधानसभा चुनाव में एक लाख वोट पाकर बहुत कम अंतर से हारे हैंं।

Dr Subodh Yadav
Dr Subodh Yadav

Dr Subodh Yadav :-

। इसी वजह से उनके पिता सरकार के निशाने पर हैं। अधिवक्ता डॉ सुबोध यादव इन दिनों इलाहबाद हाईकोर्ट में अपने पिता पर लगे मुक्कदमो की पैरवी कर रहे हैं लेकिन इसी दौरान उनपर भी एक ही दिन में कई धाराओं पर एफआईआर दर्ज कर दी गयी है योगी सरकार के कार्यकाल में इन परिस्थितयो से वो काफी आहत हैं।

Rameshwar Singh Yadav :-

आपको बता दे की सपा नेता रामेष्वर सिंह यादव लोकसभा चुनाव भी लड़ चुके हैं लेकिन इन दिनों गैंगस्टर की धारा में जेल में हैं हालही में उन्हें उत्तर प्रदेश पुलिस ने आगरा से गिरफ्तार किया था लेकिन ये इनके साथ पहली बार नहीं हुआ है। सपा के मजबूत नेता होने की वजह से रामेश्वर सिंह यादव पर पहले भी तीन बार गैंगस्टर एक्ट लग चुका है तीनो बार इन्हे कोर्ट से बाइज्जत बरी कर दिया गया था। मायावती की सरकार में भी इन पर 15 दिनों में कई दर्जन मुक्कदमे दर्ज हुए थे लेकिन बाद में सभी मुक्कदमो में इनको न्यायालय ने इन्हे बरी किया गया। रामेश्वर सिंह के जेल जाने के बाद भी उन पर पांच और मुक्क्दमे दर्ज किये गए हैं। साथ ही इनके भाई जोगिन्दर यादव पर भी कई मुक्क्द्मे दर्ज किये गए हैं। जोगिन्दर यादव भी हालही में विधानसभा चुनाव हारे हैं।

दोनों भाइयो की पत्नी और बच्चो पर भी मुक्क्द्मे दर्ज किये गए हैं। साथ ही योगी सरकार के दोनों कार्याकाल के दौरान इनकी सम्पति को भी भारी मात्रा में नुक्सान पहुंचाया गया है, डॉ सुबोध यादव जो इन दिनों पिता के केस की पैरवी इलाहबाद और लखनऊ बेंच में कर रहे हैं उनका कहना है की पूरा परिवार और इनके वोटर में काफी उदासी का माहौल है और सभी कोर्ट से न्याय की उम्मीद कर रहे हैं. रामेश्वर सिंह यादव पश्चिम यूपी के कई जिले में ज़मीनी नेता होने की वजह से काफी प्रभाव रखते हैं।

डॉ सुबोध यादव युवा पीढ़ी से हैं और उसी सोच के चलते उम्मीद कर रहे हैं की बदले की राजनीती को मुख्यमंत्री को बढ़ावा नहीं देना चाहिए। डॉ सुबोध यादव पर भी मायावती की सरकार के दौरान गैंगस्टर एक्ट लगा था लेकिन हाई कोर्ट ने सुबोध यादव की पढाई की डिग्रीयो को देखते हुए मामला

सीबीसीआईडी को सौंप दिया था जहाँ से गैंगस्टर एक्ट को यूपी पुलिस ने फर्जी पाते हुए निरस्त कर दिया था । डॉ सुबोध यादव बीबीए , एमबीए , पीएचडी , एलएलबी की पढाई कर चुके हैं। और इलाहबाद कोर्ट में प्रैक्टिस भी करते हैं। डॉ सुबोध यादव का कहना है की उन्हें कानून पर पूरा भरोसा है और जल्द न्याय की उम्मीद करते हैं।

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