भारत 10 या 11 मई को करेगा हमला ? अब्दुल बासित ने बताई तारीख, पाकिस्तान में बढ़ी बेचैनी

नई दिल्ली/इस्लामाबाद:भारत और पाकिस्तान के बीच एक बार फिर हालात युद्ध के मुहाने पर हैं। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत के तेवर सख्त हो चुके हैं और पाकिस्तान लगातार बौखलाहट में बयानबाजी कर रहा है। इस बीच पाकिस्तान के पूर्व हाई कमिश्नर अब्दुल बासित ने सनसनीखेज दावा किया है कि भारत पाकिस्तान पर 10 या 11 मई को हमला कर सकता है।

‘India is preparing for a limited misadventure’, बासित का दावा

भारत में पाकिस्तान के पूर्व उच्चायुक्त अब्दुल बासित ने कहा है कि भारत एक “सीमित सैन्य कार्रवाई” की योजना बना रहा है, और वह रूस में आयोजित Victory Day समारोह के खत्म होने का इंतजार कर रहा था। बासित के अनुसार, भारत 10 या 11 मई को पाकिस्तान पर हमला कर सकता है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान पूरी तरह तैयार है लेकिन लंबे समय से सैन्य तैनाती के कारण उसके संसाधनों पर दबाव बढ़ गया है। भारत की वाटर स्ट्राइक यानी सिंधु जल समझौते को खत्म करने की कार्रवाई ने पाकिस्तान की स्थिति और बिगाड़ दी है।

मंत्री तरार की गीदड़भभकी: ‘हम परमाणु ताकत हैं, विकल्प हमारे पास भी हैं’

अब्दुल बासित से पहले पाकिस्तान के सूचना और प्रसारण मंत्री अताउल्लाह तरार ने भी एक इंटरव्यू में भारत को चेतावनी दी थी। उन्होंने कहा था, “अगर भारत ने पाकिस्तान का पानी रोका, तो हमें भी जवाब देने के लिए कई विकल्प उपलब्ध हैं। हम एक परमाणु संपन्न देश हैं और अपनी रक्षा करना जानते हैं।”

बैसरन घाटी हमला बना तनाव की जड़, भारत के रुख से घबराया पाकिस्तान

पहलगाम की बैसरन घाटी में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ कई कड़े कदम उठाए। सबसे बड़ा फैसला सिंधु जल समझौता रद्द करने का था, जिससे पाकिस्तान में खलबली मच गई। इस कदम के बाद से ही पाकिस्तानी मंत्रियों और अधिकारियों की ओर से लगातार युद्ध और परमाणु हमले की धमकियां दी जा रही हैं।

रूस में पाक राजदूत की भी भड़काऊ टिप्पणी

पाकिस्तान के रूस में राजदूत मोहम्मद खालिद जमाली ने भी भारत के खिलाफ बयान देते हुए कहा कि अगर भारत ने हमला किया या सिंधु का पानी रोका तो पाकिस्तान परंपरागत ही नहीं, परमाणु हथियारों से भी जवाब देगा। उनका यह बयान अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी चिंता का विषय बन गया है।

युद्ध की आशंका या कूटनीतिक दबाव?

विशेषज्ञों की मानें तो पाकिस्तान की ओर से इस प्रकार की बयानबाजी का उद्देश्य भारत को कूटनीतिक रूप से दबाव में लाना हो सकता है। हालांकि भारत की ओर से अब तक कोई आधिकारिक युद्ध की घोषणा नहीं हुई है, लेकिन रक्षा तैयारियां तेज़ हो गई हैं और एलओसी पर अतिरिक्त जवानों की तैनाती की गई है।

 

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