एक और आतंकी हमला.. बुर्किना फासो में 100 से ज्यादा लोगों की मौत, फौजी अड्डों को बनाया निशाना

अफ्रीकी देश बुर्किना फासो के उत्तरी हिस्से में रविवार को हुए एक भीषण जिहादी हमले में 100 से अधिक लोगों की जान चली गई। इस हमले की जिम्मेदारी अल-कायदा से संबंधित समूह जमात नस्र अल-इस्लाम वल-मुस्लिमीन (JNIM) ने ली है। हमला मुख्य रूप से रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण शहर ड्जिबो और आसपास के आठ अन्य स्थानों पर केंद्रित था।
हमले का पैमाना और रणनीति
हमलावरों ने ड्जिबो शहर के सभी प्रवेश बिंदुओं को नियंत्रित करने के बाद सैन्य शिविरों, विशेष रूप से विशेष आतंकवाद-रोधी इकाई के शिविर पर हमला किया। इस समन्वित हमले का उद्देश्य बुर्किना फासो की वायु सेना को कमजोर करना था। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, यह हमला सुबह के समय हुआ, जब अधिकांश लोग अपने दैनिक कार्यों में व्यस्त थे।
राजनीतिक अस्थिरता और सुरक्षा चुनौतियाँ
बुर्किना फासो में 2022 में दो सैन्य तख्तापलट हुए, जिसके बाद से देश में राजनीतिक अस्थिरता और सुरक्षा चुनौतियाँ बढ़ गई हैं। देश के लगभग 60% हिस्से पर सरकार का नियंत्रण नहीं है, और जिहादी समूहों की गतिविधियाँ बढ़ती जा रही हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि सरकार द्वारा नागरिक मिलिशिया पर निर्भरता से जातीय तनाव और बढ़ सकते हैं।
मानवाधिकार उल्लंघन और नागरिकों की स्थिति
मानवाधिकार संगठनों ने रिपोर्ट किया है कि सरकारी बलों और समर्थक मिलिशिया द्वारा नागरिकों के खिलाफ अत्याचार किए जा रहे हैं, विशेष रूप से फुलानी समुदाय के खिलाफ। मार्च 2025 में, सरकारी बलों द्वारा 130 से अधिक नागरिकों की हत्या की गई थी। इन घटनाओं से जिहादी समूहों द्वारा प्रतिशोधी हमलों की संख्या में वृद्धि हुई है।
मानवाधिकार संगठनों की प्रतिक्रिया
मानवाधिकार संगठनों ने बुर्किना फासो की सरकार से आग्रह किया है कि वह नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करे और मानवाधिकार उल्लंघनों की जांच करे। उन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से भी अपील की है कि वह इस संकट में हस्तक्षेप करे और सहायता प्रदान करे।