मुलायम से मिले अखिलेश, शिवपाल की सपा से बढ़ रही दूरियों पर जानें क्या हुई बातचीत

अखिलेश पिता मुलायम से मागदर्शन लिया है कि कैसे मामला सुलझाया जाए

लखनऊ: प्रसपा अध्यक्ष शिवपाल यादव से बढ़ती दूरियों के बीच सपा मुखिया अखिलेश यादव ने शनिवार को दिल्ली में अपने पिता मुलायम सिंह यादव से मुलाकात की। उधर, शिवपाल यादव का ट्वीटर पर पीएम नरेंद्र मोदी को फालो करने से उनके भाजपा में जाने की चर्चाओं को और बल मिल रहा है। सपा संरक्षक मुलायम सिंह व अखिलेश के साथ सपा विधायक आशु मलिक भी थे। उन्होंने इस मुलाकात की फोटो भी साझा की है। माना जा रहा है कि दोनो के बीच शिवपाल यादव को लेकर भी चर्चा हुई। अखिलेश पिता मुलायम से मागदर्शन लिया है कि कैसे मामला सुलझाया जाए।

इस बीच शिवपाल सिंह यादव ने शनिवार को फिर नया सियासी संदेश दिया। उन्होंने ट्विटर पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और पूर्व उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा को फॉलो कर भाजपा से अपनी बढ़ती नजदीकियों का इजहार किया। वह जल्द ही अयोध्या जाकर रामजन्मभूमि का दर्शन करने की तैयारी में भी हैं।

राजनीतिक गलियारों में कयासों का दौर

शिवपाल यादव की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात के बाद राजनीतिक गलियारों में कयासों का दौर पहले ही शुरू हो चुका है। इस बीच माइक्रो ब्लॉलिंग साइट ट्विटर व कू के जरिए भी उन्होंने इन कयासों को हवा दे दी। शिवपाल यादव ट्विटर पर कुल 12 लोगों को फॉलो करते हैं, जबकि फॉलोअर्स की संख्या आठ लाख से ज्यादा है। वह राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री कार्यालय, मुख्यमंत्री कार्यालय व प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के अलावा सपा मुखिया अखिलेश यादव, कांग्रेस नेता राहुल गांधी, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, पूर्व उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा, अपने बेटे आदित्य यादव व बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा को फॉलो करते हैं।

अखिलेश यादव से नाराजगी

इससे पहले उनकी अपने भतीजे और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव से नाराजगी की खबरें सामने आई थीं। सपा विधायकों की बैठक में न बुलाए जाने से नाराज होकर वह इटावा चले गए थे। हालांकि सपा ने उन्हें बाद में सहयोगी दलों के विधायकों की बैठक में बुलाया, लेकिन वह नहीं गए। विधानसभा चुनाव परिणाम आने के बाद से ही उनकी नाराजगी सामने आने लगी थी। सपा ने चुनाव में उनकी पार्टी को एक भी सीट नहीं दी, खुद शिवपाल को सपा के टिकट पर चुनाव लड़ना पड़ा।

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