जासूस यूट्यूबर ज्योति की Whatsapp चैट आई सामने, pak एजेंट से हुई ये बातचीत उड़ा देगी होश.. RAW के..

हरियाणा के हिसार से गिरफ्तार यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा और पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI के अधिकारी अली हसन के बीच हुई वॉट्सऐप चैट ने देश की सुरक्षा एजेंसियों को हिला कर रख दिया है। इस चैट में साफ तौर पर देखा जा सकता है कि ISI भारत के RAW एजेंट्स और अंडरकवर नेटवर्क की जानकारी जुटाने के प्रयास में थी। ज्योति की गिरफ्तारी के बाद से NIA और IB जैसी एजेंसियों ने पूरे मामले को राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा गंभीर खतरा मानते हुए जांच तेज कर दी है।

RAW एजेंट्स की जानकारी निकालने का प्रयास उजागर

मीडिया में सामने आए वॉट्सऐप चैट के अंशों से यह स्पष्ट है कि ISI अधिकारी अली हसन ने ज्योति से अटारी बॉर्डर पर अंडरकवर एजेंट्स की मौजूदगी को लेकर जानकारी मांगी थी। चैट में अली हसन ने सवाल किया:

अली हसन: “जब आप गए थे अटारी, वहां प्रोटोकॉल किस-किस को मिला था?”
ज्योति: “किसको मिला, मुझे तो मिला नहीं।”
अली हसन: “इट मीन, कोई अंडर कवर पर्सन हो जैसे, यार पता चल जाता है देखकर, आप को कैसे निकालना था या उसको अंदर ले कर आना था। इट्स माय मैटर, उसको अंदर गुरुद्वारे में ले आना था आपने, रूम में दोनों को बैठा देना था, अभी लगे रहो।”
ज्योति: “नहीं इतने पागल थोड़ी ना थे वो।”

इस बातचीत से यह संकेत मिलता है कि ISI, भारतीय सुरक्षा एजेंट्स की पहचान के लिए कोडवर्ड्स और चालाकी से तैयार किए गए सवालों का सहारा ले रही थी। वहीं, ज्योति इस पर लगातार संवाद करती रही, जिससे उसकी भूमिका पर गंभीर संदेह खड़े हो गए हैं।

चैट के आधार पर हुई NIA की कार्रवाई

पुलिस सूत्रों के अनुसार, इसी वॉट्सऐप चैट के आधार पर NIA ने केस टेकओवर किया और सोमवार को ज्योति को चंडीगढ़ ले जाकर 7 घंटे की गहन पूछताछ की। NIA को शक है कि ज्योति ने ISI के साथ गोपनीय भारतीय जानकारी साझा की है, जो देश की सुरक्षा के लिए बेहद गंभीर मामला बन सकता है।

ISI अधिकारी अली हसन ने की ज्योति के पाकिस्तान दौरे की व्यवस्था

जांच में सामने आया कि अली हसन ने ही पाकिस्तान में ज्योति की घूमने और ठहरने की व्यवस्था की थी। उसे फाइव स्टार होटल में ठहराया गया, जिसकी वीडियो क्लिप उसने अपने यूट्यूब चैनल पर डाली थी। वहीं, वहां उसे पाकिस्तानी एजेंसी के दूसरे अधिकारियों शाकिर और राणा शहबाज से भी मिलवाया गया।

“जट रंधावा” नाम से सेव किया पाक एजेंट का नंबर

ज्योति ने पाकिस्तानी अधिकारी शाकिर का नंबर अपने फोन में ‘जट रंधावा’ के नाम से सेव किया ताकि उसके पाक कनेक्शन का पता न चल सके। इसी तरह वह वॉट्सऐप, टेलीग्राम और स्नैपचैट जैसे माध्यमों से ISI को जानकारी भेजती रही।

मोबाइल डाटा से मिला सबूत, डिलीट फाइलें हो रहीं रिकवर

NIA और मिलिट्री इंटेलिजेंस की टीम ने ज्योति का मोबाइल और लैपटॉप जब्त कर लिया है। उसमें से डिलीट किया गया डेटा रिकवर किया जा रहा है ताकि यह पता लगाया जा सके कि उसने किन-किन सूचनाओं को ISI के साथ साझा किया।

कश्मीर दौरे और पहलगाम हमले से भी जुड़ रही कड़ियाँ

NIA को शक है कि जनवरी में ज्योति ने कश्मीर और पहलगाम में जाकर ISI के लिए रेकी की थी। उसने उन जगहों के वीडियो बनाए जो आतंकी हमलों के टारगेट पर थीं। माना जा रहा है कि ISI को इन इलाकों में सेना की कमजोर मौजूदगी की जानकारी ज्योति के जरिए ही मिली, जिससे पहलगाम हमला अंजाम दिया गया।

दानिश से जुड़ते ही एजेंसियों की नजर में आई ज्योति

एक अन्य संदिग्ध गजाला खातून और पाकिस्तानी दूतावास में तैनात अधिकारी दानिश के संपर्क में आने के बाद एजेंसियों ने जब नेटवर्क को खंगाला तो ज्योति का नाम सामने आया। इसके बाद उसके खिलाफ सबूत इकट्ठा किए गए और 15 मई को गिरफ्तारी की गई।

रात 2 बजे NIA लेकर चली गई बेटी: पिता हरीश मल्होत्रा

ज्योति के पिता हरीश मल्होत्रा ने बताया कि रविवार रात करीब पौने 2 बजे पुलिस घर पहुंची, ज्योति को साथ लिया और बिना कुछ बताये चंडीगढ़ रवाना हो गई। उन्होंने कहा कि उन्हें ज्योति की गतिविधियों की जानकारी नहीं थी और न ही वे उसके यूट्यूब वीडियो देखते थे।

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