UP: ट्रेनिंग पर गई महिला सिपाही ने क्यों लगाई फांसी ? होने वाली थी पोस्टिंग.. चैटिंग-वीडियो कॉल से होगा खुलासा

उत्तर प्रदेश के कन्नौज ज़िले में पुलिस लाइन के छात्रावास में प्रशिक्षण ले रही महिला कांस्टेबल रानू जादौन (23) ने संदिग्ध परिस्थितियों में आत्महत्या कर ली।
रानू एटा के जलेसर कस्बे की रहने वाली थीं और हाल ही में कांस्टेबल के रूप में चयनित हुई थीं। वह 17 जून को प्रशिक्षण के लिए कन्नौज पहुंची थीं।
पुलिस और परिजनों के मुताबिक, मानसिक तनाव और एक युवक द्वारा नौकरी छोड़ने का दबाव आत्महत्या की संभावित वजह बताई जा रही है।

बाथरूम में मिला शव, रूममेट को पहले ही दिया था भाई का नंबर

घटना मंगलवार दोपहर की है, जब रानू ने छात्रावास की पहली मंज़िल के बाथरूम में दुपट्टे से फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उसकी रूममेट शिवानी जादौन, जो खुद भी जलेसर की रहने वाली है और साथ में प्रशिक्षण ले रही थी, जब दोपहर में लंच के समय कमरे में लौटी तो रानू को फांसी पर लटका देखकर सन्न रह गई।
रानू ने कुछ समय पहले ही शिवानी को अपने भाई का मोबाइल नंबर देकर कहा था, “कुछ हो तो भाई को कॉल कर देना” — लेकिन किसी को अंदाजा नहीं था कि वो ऐसा कदम उठा लेगी।

तनाव में थी रानू, तबीयत खराब बताकर परेड छोड़ आई थी छात्रावास

मंगलवार सुबह रानू नियमित परेड में गई थी, लेकिन कुछ देर बाद तबीयत खराब बताकर छात्रावास लौट आई। शिवानी के मुताबिक, रानू पिछले तीन दिन से चुप-चुप सी थी और पूछने पर वह स्वास्थ्य खराब होने की बात कहती थी। वह बार-बार कह रही थी कि 16 जुलाई को प्रशिक्षण पूरा होने के बाद घर जाएगी। परिजन भी बेटी की सफलता को लेकर बेहद खुश थे।

मोबाइल में छिपा है आत्महत्या का राज, चैटिंग और वीडियो कॉल के संकेत

पुलिस ने रानू का मोबाइल कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। सूत्रों के मुताबिक, आत्महत्या से पहले रानू की किसी से चैटिंग और वीडियो कॉल हुई थी। फिलहाल फोरेंसिक टीम मोबाइल और उसके कमरे से मिले दस्तावेजों की जांच कर रही है। पुलिस का मानना है कि मोबाइल से अहम सुराग मिल सकते हैं।

एटा के युवक पर केस दर्ज, नौकरी छोड़ने का बना रहा था दबाव

परिजनों के मुताबिक, रानू को एटा का ही एक युवक लगातार परेशान कर रहा था और उस पर पुलिस की नौकरी छोड़ने का दबाव बना रहा था। पिता श्यामवीर सिंह की तहरीर पर युवक के खिलाफ आईपीसी की सुसंगत धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई है। फिलहाल आरोपी युवक फरार बताया जा रहा है और पुलिस उसकी लोकेशन ट्रेस करने में जुटी है।

घर में मचा मातम, मां और बहन बेसुध, भाई और पिता स्तब्ध

उधर, जैसे ही रानू की मौत की खबर परिजनों को मिली, जलेसर कस्बे के मोहल्ला हथौड़ा स्थित घर में कोहराम मच गया। मां ऊषा देवी और बहन राधा देवी पोस्टमार्टम हाउस में बेटी का शव देखकर बेसुध हो गईं, जिन्हें महिला पुलिसकर्मियों ने संभाला। पिता श्यामवीर सिंह और भाई विनय जादौन कुछ भी कह पाने की स्थिति में नहीं थे।

UPSC की तैयारी कर रही थी रानू, कई प्रतियोगी परीक्षाएं दी थीं

परिजनों के अनुसार, रानू पढ़ाई में बहुत तेज थी और वह UPSC, आयकर विभाग, और पुलिस में SI की भर्ती परीक्षाएं भी दे चुकी थी। हालांकि, कुछ परीक्षाओं में असफलता के बाद वह मानसिक दबाव में रहने लगी थी। कांस्टेबल की नौकरी मिलने पर उसने ट्रेनिंग जॉइन की थी, लेकिन मन में कुछ और ही सपने थे।

पुलिस जांच जारी, SP बोले: मोबाइल और दस्तावेज़ों से मिलेंगे सुराग

कन्नौज के पुलिस अधीक्षक विनोद कुमार ने बताया कि,

“प्रारंभिक जांच में मामला व्यक्तिगत कारणों से आत्महत्या का प्रतीत हो रहा है, लेकिन मोबाइल और कमरे से मिले दस्तावेज़ों की जांच की जा रही है। जल्द ही सच्चाई सामने लाई जाएगी।”

फोरेंसिक टीम ने मौके से साक्ष्य जुटा लिए हैं और पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है।

मानसिक दबाव, समाज का डर या ज़बरदस्ती

रानू जादौन की मौत एक बार फिर यह सवाल छोड़ जाती है कि महिलाओं के लिए नौकरी करना आज भी कितना संघर्षपूर्ण है।
जब एक पढ़ी-लिखी, मेहनती युवती को भी इतना मानसिक दबाव झेलना पड़े, तो क्या हम वाकई एक सुरक्षित समाज की ओर बढ़ रहे हैं?

इस मामले की सत्यता और न्याय की मांग अब हर जागरूक नागरिक की जिम्मेदारी है।

 

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