महाराष्ट्र के इस वरिष्ठ पत्रकार से जाने, क्यों बीजेपी ने किया नितिन गडकरी को संसदीय बोर्ड से बाहर

नितिन गडकरी को संसदीय बोर्ड से बाहर कर देना एक दम चौकाने जैसा है.

महाराष्ट्र के इस वरिष्ठ पत्रकार से जाने, क्यों बीजेपी ने किया नितिन गडकरी को संसदीय बोर्ड से बाहर

नितिन गडकरी को संसदीय बोर्ड से बाहर कर देना एक दम चौकाने जैसा है.

इस बात को लेकर काफी सवाल उठ रहे है की आखिर क्यो नितिन गडकरी को संसदीय बोर्ड से बाहर किया गया, और आखिर क्यो उन्हे केंद्रीय चुनाव कमेटी तक मे जगह नहीं दी गयी.

वही दूसरी और देवेंद्र फड़नवीस को केंद्रीय चुनाव कमेटी मे जगह दी गयी, बीजेपी के इस फैसले को केंद्र और महाराष्ट्र का बड़ा राजनीतिक कदम माना जा रहा हैं.नितिन गडकरी केंद्र के बेहतर मंत्रियों मे से एक है, लेकिन अब उनके पास सिर्फ सड़क एवं परिवाहन मंत्रालय ही है.यहां तक की उन्हे किसी राज्य का प्रभारी भी नहीं बनाया गया, और ना ही बीजेपी के संगठन मे कोई पद दिया गया.गडकरी ने काफी लम्बे समय तक पार्टी मे अहम भूमिका निभाई है.

हालाँकि गडकरी अभी भी सक्रिय राजनीति मे है और देश के सबसे अहम मंत्रालय मे से एक का जिम्मा संभाल रहे है. और बीजेपी के इस फैसले पर गडकरी का अभी तक कोई बयान सामने नही आया है.

वरिष्ठ पत्रकार अशोक वानखेड़े ने बताया की नितिन गडकरी का काम करने का तरीका हमेशा से ही कुछ हट कर रहा है, गडकरी हमेशा अपने बयानो के लिए चर्चित रहते है जिससे कभी कभी यह स्पष्ट हो जाता है की पार्टी मे सब कुछ ठीक नही है.और कई बार तो बीजेपी और सरकार को गडकरी के बयान की वजह से मुश्किलों का सामना करना पढ़ा है, तो यह भी एक कारण हो सकता है गडकरी से किनारा करने का.

कहीं ना कहीं यह बात साफ हैं की गडकरी का अलग अंदाज़ अब उनपे भारी पढ़ रहा है, बीजेपी का यह फैसला यह साफ दर्षाता है की गडकरी का काम करने का अलग तरीका पार्टी को अच्छा नही लगता.

 

 

 

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