मुश्किल में टेलीकॉम इंडस्ट्री

एयरटेल के CEO ने कहा- भारत में 3 प्राइवेट टेलीकॉम कंपनियों की जरूरत, सरकार से राहत की उम्मीद

घरेलू टेलीकॉम इंडस्ट्री में बढ़ती फाइनेंशियल दिक्कतों के चलते कंपनियों के लिए बिजनेस करना मुश्किल होता जा रहा है। ऐसे में प्रमुख टेलीकॉम कंपनियों को अब सरकार से राहत की उम्मीद है। इस पर भारती एयरटेल के CEO गोपाल विट्ठल ने कहा कि भारत जैसे बड़े देश में टेलीकॉम कंपनियों के मुश्किल समय में सरकार से राहत की जरूरत है।

गोपाल विट्ठल का बयान ऐसे समय में आया है जब एयरटेल ने ग्राहकों से कमाई (ARPU) बढ़ाने के लिए हाल ही अपने प्लान में बदलाव किए हैं। दूसरी ओर, 1.8 लाख करोड़ रुपए के कर्ज में डूबी वोडाफोन आइडिया के चेयरमैन पद से कुमार मंगलम बिरला ने 4 अगस्त को इस्तीफा दे दिया।

दो दिन पहले ही उन्होंने केंद्रीय कैबिनेट सचिव राजीव गाबा को पत्र लिखकर कंपनी में अपनी हिस्सेदारी किसी भी सरकारी कंपनी या घरेलू कंपनियों को देने का ऑफर दिया। कंपनी में बिरला की 27.66% और वोडाफोन की 44.39% हिस्सेदारी है।

आर्पू बढ़ाने की भी जरूरत
वोडाफोन आइडिया की कमजोर होती स्थिति से केवल टेलीकॉम मार्केट में केवल दो प्राइवेट कंपनियां रिलायंस जियो और भारती एयरटेल ही बचेंगी। हालांकि, गोपाल विट्ठल कहते हैं कि 130 अरब आबादी वाले देश में तीन प्राइवेट कंपनियों की जरूरत है। उन्होंने कहा कि ARPU अभी काफी कम है, जिसे बढ़ाकर 200-300 रुपए प्रति यूजर करने की जरूरत है। इससे इंडस्ट्री की बिगड़ते हालात को राहत मिलेगी।

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