महिला अफसर ने की नर्सिंग स्टाफ की चप्पलों से पिटाई, वीडियो हुआ वायरल.. वजह जानकर उड़ जाएंगे होश, देखें..

राजस्थान के अजमेर जिले के नसीराबाद स्थित सरकारी अस्पताल में गुरुवार को उस वक्त हड़कंप मच गया, जब वहां की महिला नर्सिंग ऑफिसर और एक पुरुष स्टाफ के बीच जोरदार झड़प हो गई। मामला इतना बढ़ गया कि महिला ऑफिसर ने सहकर्मी को लात-घूंसे और चप्पल से पीटना शुरू कर दिया, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो चुका है।
वायरल वीडियो में दिखा महिला का आक्रोश
वायरल हो रहे वीडियो में महिला नर्सिंग ऑफिसर एक पुरुष नर्सिंग स्टाफ को चप्पल से मारती नजर आ रही है। पीड़ित की पहचान राम अवतार मीणा के रूप में हुई है, जो अस्पताल में बतौर नर्सिंग स्टाफ कार्यरत है। महिला ऑफिसर का आरोप है कि राम अवतार नशे में था और लगातार गालियां दे रहा था, जिससे आक्रोशित होकर उसे यह कदम उठाना पड़ा।
अस्पताल प्रशासन ने गठित की जांच समिति
जैसे ही वीडियो सामने आया, अस्पताल प्रशासन हरकत में आ गया। नसीराबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी अधिकारी डॉ. विनय ने बताया कि मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी गठित की गई है। उन्होंने कहा:
“सरकारी अस्पताल में इस तरह की अनुशासनहीनता अस्वीकार्य है। दोषी जो भी हो, कार्रवाई निश्चित है।”
पुलिस भी सक्रिय, दर्ज हुई शिकायत
नसीराबाद सिटी थाना पुलिस को भी घटना की सूचना दे दी गई है। पुलिस ने बताया कि दोनों पक्षों के बयान दर्ज किए जा रहे हैं, और वायरल वीडियो को भी साक्ष्य के रूप में जांच में शामिल किया गया है।
पुलिस अधिकारी ने कहा कि प्रथम दृष्टया मामला अशोभनीय व्यवहार और शासकीय कार्य में बाधा से जुड़ा हो सकता है।
मरीजों के सामने बवाल, परिजनों में असंतोष
घटना उस समय हुई जब अस्पताल में कई मरीज और उनके परिजन मौजूद थे। पब्लिक के सामने स्वास्थ्यकर्मियों के बीच मारपीट की घटना ने लोगों में गहरी नाराजगी पैदा की। एक मरीज के परिजन ने कहा:
“जब डॉक्टर-नर्स आपस में लड़ेंगे, तो मरीजों का इलाज कौन करेगा? यह शर्मनाक है।”
अनुशासन की दरार या आत्म-सम्मान की रक्षा?
इस घटना ने अस्पतालों में व्याप्त अनुशासनहीनता को उजागर कर दिया है। हालांकि कई लोग महिला ऑफिसर के पक्ष में भी बोल रहे हैं, उनका कहना है कि
“एक महिला के आत्म-सम्मान पर हमला हुआ हो और वह जवाब दे, तो उसे अनुशासनहीनता कहना अन्याय है।”
वहीं, दूसरी ओर आलोचकों का कहना है कि सरकारी सेवा में कानूनी रास्ता अपनाना चाहिए, न कि हाथापाई।
वीडियो ने उजागर की अस्पतालों की अंदरूनी कलह
यह घटना सिर्फ एक झगड़ा नहीं, बल्कि सरकारी स्वास्थ्य सेवाओं के भीतर चल रहे मनमुटाव और लचर अनुशासन प्रणाली को भी उजागर करती है।
जहां एक ओर महिला ऑफिसर का कदम आक्रोश और सुरक्षा की भावना से प्रेरित हो सकता है, वहीं दूसरी ओर यह पूरी घटना अस्पताल की गरिमा पर सवाल जरूर खड़े करती है।