Pilibhit: “जिसे घूमना है, जल्दी करें..”, बंद होने वाली हैं ‘चूका बीच’ समेत ये जगहें.. इस तारीख तक है आखिरी मौका

उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले में स्थित पीलीभीत टाइगर रिजर्व (PTR) न सिर्फ बाघों की मौजूदगी के लिए प्रसिद्ध है, बल्कि इसकी प्राकृतिक खूबसूरती और शांत वातावरण भी हजारों सैलानियों को हर साल अपनी ओर आकर्षित करता है। सात महीने तक चलने वाला पर्यटन सत्र अब अंतिम चरण में है, और 15 जून की शाम को रिजर्व पर्यटकों के लिए बंद कर दिया जाएगा। ऐसे में यदि आप वीकेंड या छुट्टियों में घूमने का प्लान बना रहे हैं, तो यह आखिरी मौका हो सकता है।

चूका बीच: पीटीआर का मिनी गोवा

चूका बीच, जो शारदा डैम के किनारे स्थित है, पीलीभीत टाइगर रिजर्व की सबसे प्रमुख आकर्षणों में से एक है। इसे मिनी गोवा कहा जाता है क्योंकि यहां का नज़ारा समुद्र तट जैसा अनुभव देता है। घने जंगल, शांत जल और हरियाली के बीच बने हट्स इस स्थान को और भी खास बना देते हैं। पर्यटन सत्र के दौरान हजारों सैलानी यहां आकर प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद लेते हैं।

15 जून को बंद होगा रिजर्व, अब तक आए 50 हजार सैलानी

पर्यटन सत्र की शुरुआत हर साल 15 नवंबर को होती है और यह 15 जून तक चलता है। इस बार के सत्र में अब तक लगभग 50,000 सैलानी चूका बीच और जंगल की सैर कर चुके हैं। आखिरी हफ्ते में पर्यटकों की संख्या और बढ़ने की उम्मीद है, जिससे इस साल के आंकड़े पुराने रिकॉर्ड को पार कर सकते हैं।

जंगल सफारी का रोमांच: निजी वाहन नहीं, वन विभाग के वाहन

मुस्तफाबाद गेस्ट हाउस, जो पीलीभीत मुख्यालय से 37 किलोमीटर दूर है, पर्यटन क्षेत्र का प्रवेश द्वार है। यहां निजी वाहनों की एंट्री वर्जित है, इसलिए वन विभाग ने लगभग 80 जंगल सफारी वाहनों की व्यवस्था की है। इनमें जिप्सी वाहन का किराया ₹4200 और जीनान वाहन का ₹5600 है। प्रत्येक वाहन में अधिकतम छह सैलानी सफारी का आनंद ले सकते हैं।

दिल्ली से 350 और बरेली से 70 किलोमीटर की दूरी पर

चूका बीच दिल्ली से लगभग 350 किलोमीटर और बरेली से 70 किलोमीटर दूर स्थित है। यहां रुकने के लिए शानदार सुविधाएं भी उपलब्ध हैं। सैलानी वाटर हट, ट्री हट, बैंबो हट और थारू हट में ऑनलाइन बुकिंग के माध्यम से ठहर सकते हैं। इसके लिए वेबसाइट upecotourism.in का उपयोग किया जा सकता है।

गोमती नदी का उद्गम स्थल भी है आकर्षण का केंद्र

चूका बीच के समीप ही गोमती नदी का पौराणिक उद्गम स्थल भी स्थित है, जो धार्मिक और ऐतिहासिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है। पर्यटकों के लिए यह एक अतिरिक्त आकर्षण है।

बराही रेंज और सप्तसरोवर: चूका के समान नया अनुभव

पीटीआर के बराही रेंज में स्थित सायफन, सप्तसरोवर और बाइफरकेशन जैसे पर्यटन स्थल भी अब पर्यटकों को आकर्षित कर रहे हैं। सप्तसरोवर को चूका बीच की तर्ज पर विकसित किया गया है, जहां चार सुंदर हट्स बनाई गई हैं। यहां पर्यटकों के रुकने और प्राकृतिक नजारों का आनंद लेने की समुचित व्यवस्था है।

बाघों की बढ़ती उपस्थिति ने बढ़ाया आकर्षण

इस पर्यटन सत्र के दौरान बाघों की कई बार झलक देखने को मिली, जिसने पर्यटकों के अनुभव को और भी रोमांचक बना दिया। यही कारण है कि इस बार की पर्यटक संख्या और आय दोनों ने पुराने रिकॉर्ड को पीछे छोड़ दिया है।

छुट्टियों का आखिरी मौका

अगर आप प्राकृतिक सुंदरता, वन्य जीवन और रोमांच का अनुभव लेना चाहते हैं, तो 15 जून से पहले पीलीभीत टाइगर रिजर्व का दौरा जरूर करें। चूका बीच और जंगल सफारी आपको एक यादगार अनुभव देंगे, जिसे आप लंबे समय तक नहीं भूल पाएंगे।

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